ITR Filing 2025-26: जानिए ITR-1 और ITR-2 में क्या अंतर है और आपके लिए कौन सा फॉर्म सही रहेगा

ITR Filling 2025

आयकर विभाग ने वित्त वर्ष 2025-26 के लिए टैक्स रिटर्न भरने की प्रक्रिया शुरू कर दी है और इस महीने की शुरुआत में सभी ITR फॉर्म्स को अधिसूचित कर दिया गया है।

हालांकि वेतनभोगी व्यक्तियों को जून में फॉर्म 16 का इंतजार करना होगा, लेकिन ITR भरने की तैयारी अभी से शुरू की जा सकती है। इस बार ITR फॉर्म्स में कुछ अहम बदलाव हुए हैं, जो जुलाई 2024 के बजट में टैक्स स्लैब और कैपिटल गेन्स टैक्स में किए गए बदलावों से जुड़े हैं।

ITR-1 (Sahaj) में क्या नया है?

पिछले साल तक (वित्त वर्ष 2023-24 के लिए), ITR-1 (Sahaj) केवल उन्हीं निवासी भारतीयों के लिए था जिनकी आय सीमित थी जैसे: वेतन/पेंशन, एक हाउस प्रॉपर्टी से आय, बचत खाते या फिक्स्ड डिपॉजिट से ब्याज, डिविडेंड और ₹5,000 तक की कृषि आय।

नया बदलाव:

अब वित्त वर्ष 2024-25 (आकलन वर्ष 2025-26) से, वे टैक्सपेयर्स जिनके पास लिस्टेड इक्विटी शेयर्स या इक्विटी म्यूचुअल फंड्स की बिक्री से लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स (LTCG) है — और जो ₹1.25 लाख से कम है — वे भी ITR-1 फॉर्म भर सकते हैं। इस पर टैक्स दर 12.5% होगी।

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ITR-1 (Sahaj) किसके लिए है?

ITR-1 फॉर्म “सहज” यानी आसान फॉर्म है। यह उन वेतनभोगी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए है जिनकी आय साधारण है।

इसमें पहले से ही पर्सनल जानकारी, आय और वित्तीय लेनदेन की जानकारी भरी होती है जिससे फाइलिंग आसान हो जाती है। व्यक्ति अपने फॉर्म 16, बैंक स्टेटमेंट, फॉर्म 26AS और AIS (Annual Information Statement) से जानकारी मिलाकर ऑनलाइन रिटर्न भर सकता है।

इस फॉर्म को वही व्यक्ति भर सकते हैं:

  • जो भारत के निवासी (Resident and Ordinarily Resident) हों
  • जिनकी कुल आय ₹50 लाख से अधिक नहीं हो
  • जिनकी आय में शामिल हो: वेतन/पेंशन, एक हाउस प्रॉपर्टी (जहां कोई लॉस नहीं है), बचत खाते या एफडी से ब्याज, डिविडेंड, फैमिली पेंशन और ₹5,000 तक की कृषि आय
  • और अब जिनके पास लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स (LTCG) ₹1.25 लाख तक हो (केवल सेक्शन 112A के तहत)

कौन ITR-1 नहीं भर सकता?

अगर नीचे दिए गए में से कोई भी शर्त आप पर लागू होती है, तो आप ITR-1 नहीं भर सकते:

  • कुल आय ₹50 लाख से अधिक हो
  • सेक्शन 112A के तहत LTCG ₹1.25 लाख से अधिक हो
  • आप किसी कंपनी में डायरेक्टर हों
  • आपके पास अनलिस्टेड इक्विटी शेयर्स हों
  • आपने विदेश से कोई आय अर्जित की हो
  • आपके पास कोई विदेशी बैंक खाता, संपत्ति या वित्तीय रुचि हो
  • आपने ESOP पर टैक्स भुगतान स्थगित किया हो
  • आपके पास कोई पूराने साल का लॉस हो जिसे आगे ले जाना है

फिर किसे ITR-2 भरना चाहिए?

यदि आप ऊपर दिए गए किसी भी मापदंड में आते हैं, तो आपके लिए ITR-2 सही फॉर्म है।

ITR-2 किसके लिए है?

ITR-2 उन व्यक्तियों के लिए है:

  • जिनके पास व्यापार या पेशे से आय नहीं है (No “profits and gains from business or profession”)
  • लेकिन जिनके पास वेतन, पेंशन, एक से अधिक प्रॉपर्टी, कैपिटल गेन्स, विदेशी आय, या अन्य जटिल वित्तीय विवरण हैं

निष्कर्ष (Conclusion):

वेतनभोगी टैक्सपेयर्स के लिए ITR भरना अब थोड़ा आसान हो गया है, खासकर अगर आपकी लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स ₹1.25 लाख से कम है। लेकिन सही फॉर्म का चयन करना बेहद जरूरी है ताकि बाद में कोई गलती न हो।

टिप्स:

  • फॉर्म 16, बैंक स्टेटमेंट, AIS और 26AS की जानकारी पहले से तैयार रखें
  • अगर आपकी आय साधारण है और ₹50 लाख से कम है, तो ITR-1 भरना सुविधाजनक होगा
  • अगर आपकी वित्तीय स्थिति थोड़ी जटिल है, तो ITR-2 का चयन करें

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